Helmet Rules: भारत में सड़क दुर्घटनाओं में लगातार बढ़ रही मौतों की संख्या को देखते हुए केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने एक अहम घोषणा की है. नई दिल्ली में आयोजित ऑटो समिट 2025 में उन्होंने कहा कि अब से हर नए दोपहिया वाहन के साथ दो ISI सर्टिफिकेट हेलमेट देना अनिवार्य होगा. यह कदम न केवल कानून के तहत बाध्यकारी होगा, बल्कि लोगों की सुरक्षा के लिए एक मजबूत कवच भी साबित होगा.
दो हेलमेट क्यों जरूरी?
अक्सर देखा जाता है कि बाइक पर सिर्फ आगे बैठा व्यक्ति ही हेलमेट पहनता है. जबकि पीछे बैठने वाला खतरे में रहता है. गडकरी के अनुसार “सुरक्षा सिर्फ चालक की नहीं, पीछे बैठने वाले की भी उतनी ही अहम है.” इसलिए अब वाहन निर्माता कंपनियों को नए बाइक या स्कूटर के साथ दो ISI सर्टिफाइड हेलमेट देना अनिवार्य कर दिया गया है. इससे दोनों सवारियों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सकेगी.
चौंकाने वाले हैं भारत के सड़क दुर्घटना के आंकड़े
भारत में सड़क हादसों के आंकड़े बेहद चिंताजनक हैं.
सरकारी रिपोर्ट के अनुसार:
- हर साल 4.80 लाख से ज्यादा सड़क दुर्घटनाएं होती हैं.
- इनमें से लगभग 1.88 लाख लोगों की जान जाती है.
- 66% मृतक 18 से 45 वर्ष की उम्र के होते हैं.
- हर साल 69,000 दोपहिया वाहन चालकों की मौत होती है.
- इनमें से 50% मौतें हेलमेट नहीं पहनने के कारण होती हैं.
इन आंकड़ों को देखते हुए सरकार का यह फैसला सड़क सुरक्षा की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम कहा जा सकता है.
हेलमेट निर्माता संघ ने फैसले का किया स्वागत
टू-व्हीलर हेलमेट मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन (THMA) ने इस फैसले का खुले दिल से स्वागत किया है.
THMA अध्यक्ष राजीव कपूर ने कहा,
“यह केवल एक नियम नहीं, बल्कि देश की आवश्यकता है. जो परिवार सड़क दुर्घटनाओं में अपनों को खो चुके हैं, उनके लिए यह फैसला उम्मीद की किरण है.”
हेलमेट निर्माता कंपनियों ने आश्वासन दिया है कि वे गुणवत्तापूर्ण ISI हेलमेट का उत्पादन बढ़ाएंगी और देशभर में इसकी उपलब्धता सुनिश्चित करेंगी.
क्या होता है ISI सर्टिफाइड हेलमेट?
ISI यानी Indian Standards Institute का सर्टिफिकेट हेलमेट की गुणवत्ता और सुरक्षा मानकों को दर्शाता है.
- ISI मार्क वाले हेलमेट टेस्टेड और अप्रूव्ड होते हैं.
- ये हेलमेट सिर की सुरक्षा के लिए डिजाइन किए जाते हैं और दुर्घटना के समय जानलेवा चोटों से बचाते हैं.
- ISI हेलमेट को पहनना अब कानूनी रूप से अनिवार्य कर दिया गया है.
हेलमेट न पहनने पर लगेगा ₹2000 तक का चालान
सरकार ने 1998 मोटर वाहन अधिनियम में संशोधन करते हुए हेलमेट नियमों को और कड़ा कर दिया है.
अब यदि कोई व्यक्ति:
- हेलमेट नहीं पहनता है – ₹1000 का जुर्माना
- हेलमेट पहना है, लेकिन उसकी पट्टी नहीं बांधी – ₹1000 का जुर्माना
- खुला हेलमेट या गैर-ISI हेलमेट पहनता है – ₹1000 का जुर्माना
कुल मिलाकर ₹2000 तक का चालान कट सकता है.
यानी अब सिर्फ हेलमेट पहनना ही काफी नहीं. उसे सही तरीके से पहनना भी जरूरी है.
लोगों की जिम्मेदारी भी उतनी ही जरूरी
सरकार की यह पहल तभी सफल हो पाएगी जब लोग भी इस दिशा में जागरूकता और ज़िम्मेदारी दिखाएंगे.
- हेलमेट को सही तरीके से पहने और उसकी स्ट्रैप जरूर लगाएं.
- बच्चों को हेलमेट पहनने की आदत डालें.
- ISI मार्क वाले ही हेलमेट खरीदें.
- ट्रैफिक नियमों का पालन करें.